चित्तौड़गढ़ हिंदुस्तान के सबसे प्राचीन राजवंश मेवाड़ राजघराने के 77 वे उत्तराधिकारी महाराणा विश्व राज सिंह का सोमवार को चित्तौड़ दुर्ग के फतेह प्रकाश महल प्रांगण में भव्य राजतिलक कार्यक्रम आयोजित किया गया। पुरातन परम्परा अनुसार मेवाड़ राज्य से जुड़े सलूम्बर रावत देवव्रत सिंह चुंडावत ने नवनियुक्त महाराणा का हाथ पकड़ कर उन्हें राजगद्दी पर बिठाकर अपनी तलवार से अंगूठा चीर कर अपने रक्त से तिलक कर उन्हें नजराना पेश किया।
इस दौरान वैदिक मंत्रोच्चार गुंजायमान होते रहे। इस दौरान बेदला ठिकाने से जुड़े तोपची परिवार ने महाराणा को इक्कीस तोपो की सलामी भी दी। इससे पूर्व महाराणा विश्व राज सिंह ने अपनी कुलदेवी के दर्शन कर हवन कर पूजा अर्चना भी की। कार्यक्रम के दौरान मेवाड़ राजवंश से जुड़े सोलह-बत्तीस बड़े ठिकानेदारों ने भी महाराणा को नजराना पेश किये। इसके बाद मेवाड़ के गोल ठिकाने के ठिकानेदारों सहित जागीरदारों ने भी नज़राना पेश कर मेवाड़ राज परिवार के प्रति अपना विश्वास जताया।
इस राजतिलक के बाद घोषित रूप से विश्व राज सिंह मेवाड़ के नाम पर मेवाड़ अधिपति होने
पर मोहर लगा दी।
कार्यक्रम के दौरान विभिन्न समाजों के प्रतिनिधियों सहित भीलवाडा राजसमंद प्रतापगढ़ की पूर्व रियासतों से जुड़े राजघराने और
जागीरदार भी मौजूद रहे। इसी मोके पर राजनीति से जुड़े कई बड़े चेहरे भी दिखाई दिये।
कार्यक्रम के समापन के बाद महाराणा विश्व राज सिंह ने दुर्ग पर कालिका माता मंदिर के दर्शन भी किये।
चित्तौड़ से निकलने के बाद महाराणा मेवाड़ उदयपुर राज महल में स्थापित धूणी के दर्शन करने के बाद भगवान श्री एकलिंगनाथ मंदिर जाकर दर्शन करेंगे। जहाँ परम्परा अनुसार शोक भंग कर रंग बदला जायेगा।
सिटी पैलेस एवं एकलिंगजी ट्रस्ट के दरवाजे किये बंद:-
मेवाड़ के महाराणा भगवत सिंह की मृत्यु के बाद से ही उत्तराधिकार को लेकर उनके दोनों पुत्रों में मामले कोर्ट में लंबित है।
श्री एकलिंग नाथ ट्रस्ट पर एकाधिकार के मुद्दे पर नव नियुक्त मेवाड़ महाराणा विश्व राज सिंह मेवाड़ के उदयपुर के सिटी पैलेस में स्थापित प्राचीन धूनी सहित मेवाड़ के आराध्य देव भगवान श्री एकलिंग नाथ मंदिर में जाने का कार्यक्रम निर्धारित था। इसी बीच श्री एकलिंग नाथ ट्रस्ट ने विवाद की आशंकाओं के बीच उदयपुर सिटी पैलेस के मुख्य दरवाजे बंद कर दिये गये। साथ ही एकलिंगनाथ मंदिर के भी दरवाजे बंद कर दिये। सूत्रों की माने तो उच्च स्तरीय दखल के बाद महाराणा के साथ ग्यारह व्यक्तियों के साथ यहाँ प्रवेश की अनुमति दी।
ये ठिकानेदार रहे मौजूद:-
महाराणा विश्व राज सिंह मेवाड़ के राज तिलक समारोह में मेवाड़ रियासत से जुड़े सलूम्बर ठिकाने के साथ ही बड़ी सादड़ी, घाणे राव, भीण्डर, देवगढ़, कोठारिया, बेदला, बांसी, पारसोली, बदनोर, देलवाड़ा, भैंसरोड़गढ़, शिवर्ती, आमेट ठिकानेदारों सहित बत्तीस उमराव एवं गोल के ठिकानेदार उपस्थित रहें।
बतादे की विश्वराज सिंह मेवाड़ खुद नाथद्वारा से विधायक हैं और उनकी पत्नी महिमा कुमारी मेवाड़ राजसमंद से सांसद हैं। विश्वराज का जन्म 18 मई 1969 में हुआ और उनकी पढ़ाई मुंबई में पूरी हुई। मुंबई के सेंट जेवियर्स कॉलेज से उन्होंने अर्थशास्त्र में स्नातक की डिग्री ली है।

Author: shiningmarwar
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